निगोहा। निगोहा के मदाखेड़ा गांव में पिछले कई दिनों से चल रहे खनन का ग्रामीणों ने विरोध कर खनन करने वाले लोगो और डंफरो को दौड़ा लिया।ग्रामीणों का आरोप था कि जहां पर खनन हो रहा था वहाँ उनका पट्टा था।बवाल की सूचना पर पहुची निगोहा पुलिस ने ग्रामीणों से बातचीत कर ग्रामीणों को शान्त कराकर राजस्व टीम की निशानदेही के बाद ही खनन शुरू होने का हवाला दिया जिसके बाद ग्रामीण शांत हुए।मंगलवार को सैकड़ो की संख्या में ग्रामीण और महिलाओं ने मदाखेड़ा गांव के बाहर हो रहे खनन करने वालो को घेरकर लिया।ग्रामीणों ने खनन करने वालों से खुदाई करने वालो से परमिशन मांगा तो खनन करने वाले परमिशन नही दिखा सके।वही ग्रामीणों में आरोप लगाकर हंगामा शुरू किया कि जहां पर खनन हो रहा है वहाँ पर उनका पट्टा है।वही इसकी सूचना पाकर निगोहा पुलिस भी मौके पर पहुच गयी।पुलिस के पहुचने पर ग्रामीण और उग्र हो गए जिसके बाद मौके पर से खनन करने वाले डंफरो को लेकर भाग निकले।वही पुलिस ने ग्रामीणों को शांत कराया और खनन करने वालो से बात कर राजस्व टीम से वार्ता के बाद और मौके पर आकर निशानदेही करने के बाद ही खनन का काम शुरू होगा।इसके बाद ग्रामीण शान्त हुए।निगोहा एसआई अमित वर्मा ने बताया कि बवाल की सूचना पर पुलिस मौके पर गई थी और ग्रामीणों को शान्त कराकर निशानदेही तक खनन बन्द करा दिया गया है।ग्रामीणों ने बताया कि परमिशन की आड़ में निगोहा-मोहनलालगंज इलाके भर में मानक से विपरीत खनन किया जा रहा इसकी वजह से गांव जाने वाले आम रास्ते भी चौपट हो रहे है।इस खनन के खेल में पुलिस और राजस्व टीम की भी पूरी मिलीभगत रहती है।इसकी वजह से ग्रामीणों का विरोध कमजोर पड़ जाता है।अवैध खनन ही ले चुका है मासूमो की जान——ग्रामीणों ने बताया कि मंगलवार को भी मदाखेड़ा में मानक से विपरीत खनन हो रहा था इसके पहले पटसा गांव के पास भी बड़े पैमाने पर खनन का मामला आया था।और इसी तरह मोहनलालगंज में मानक से विपरीत खनन की वजह से बरसात में भरे पानी ने दो मासूमो की जान भी ले ली थी।